आजम खां डूंगरपुर केस में बरी, पर सपा नेता जेल से बाहर नहीं आ पाएंगे

आजम खां डूंगरपुर केस में बरी, पर सपा नेता जेल से बाहर नहीं आ पाएंगे

Azam Khan Dungarpur Case

Azam Khan Dungarpur Case

Azam Khan Dungarpur Case: बेटे के फर्जी जन्म प्रमाण पत्र बनवाने के मामले में सीतापुर जेल में बंद समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता आजम खान को डूंगरपुर प्रकरण में बड़ी राहत मिली है. रामपुर के एमपी-एमएलए कोर्ट ने इस मामले में आजम खान सहित सभी आरोपियों को बरी कर दिया. गुरुवार को एमपी-एमएलए कोर्ट में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए आजम खान की पेशी हुई थी.

दरअसल, सपा शासनकाल में डूंगरपुर में आसरा आवास बनाए गए थे. इस जगह पर पहले से कुछ लोगों के मकान बने हुए थे. आरोप था कि सरकारी जमीन पर बताकर वर्ष 2016 में इसे तोड़ दिया गया था. इस मामले में पीड़ितों ने लूटपाट का आरोप भी लगाया था.

आजम खान पर 2019 में दर्ज हुआ था मामला

वर्ष 2019 में रामपुर के गंज थाने में इस मामले में करीब एक दर्जन अलग-अलग मुकदमे दर्ज कराए गए थे. आरोप लगाया गया था कि सपा सरकार में आजम खान के इशारे पर पुलिस और सपाइयों ने आसरा आवास बनाने के लिए उनके घरों को जबरन खाली कराया था. वहां पहले से बने मकानों पर बुलडोजर चलवाकर ध्वस्त कर दिया था.

अभी 10 मामलों की सुनवाई जारी

जानकारी के मुताबिक, डूंगरपुर प्रकरण में आजम खान के खिलाफ 13 मामले दर्ज हैं. इनमें से दो मामलों में रामपुर के एमपी-एमएलए कोर्ट से पहले ही फैसला आ चुका है, जिसमें से एक मामले में उन्हें बरी कर दिया गया था, जबकि दूसरे में उन्हें सात साल की सजा हुई थी. गुरुवार को एक और मामले में आजम खान को बरी कर दिया गया. अभी 10 मामलों में सुनवाई चल रही है.

31 जनवरी को एक केस में हुए थे बरी

बता दें कि डूंगरपुर केस के एक मामले में इसी 31 जनवरी 2024 को कोर्ट ने फैसला सुनाया था. कोर्ट ने आजम खान को बरी कर दिया था. यह मामला रूबी पत्नी करामत अली की तरफ से दर्ज कराया था. कोर्ट ने सुनवाई पूरी होने के बाद फैसला सुनाते हुए आजम खान समेत सभी आरोपितों को बरी कर दिया था.

इसी केस में मिली थी 7 साल की सजा

डूंगरपुर केस के ही एक मामले में कोर्ट ने आजम खान को इसी 18 मार्च को साल साल की सजा सुनाई थी. वहीं बाकी दोषियों को पांच साल की सजा सुनाई थी. IPC की धारा 427, 504, 506, 447 और 120B के तहत कोर्ट ने आजम खान को इस मामले में दोषी करार दिया था. आजम खान के साथ पूर्व नगर पालिका अध्यक्ष अजहर अहमद खां, ठेकेदार बरकत अली, रिटायर्ड सीओ आले हसन भी दोषी पाए गए थे.

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