सतलोक आश्रम खमाणों में श्रधापूर्वक संपन्न हुआ तीन दिवसीय कबीर साहेब प्रकट दिवस समागम

सतलोक आश्रम खमाणों में श्रधापूर्वक संपन्न हुआ तीन दिवसीय कबीर साहेब प्रकट दिवस समागम

सतलोक आश्रम खमाणों में श्रधापूर्वक संपन्न हुआ तीन दिवसीय कबीर साहेब प्रकट दिवस समागम

सतलोक आश्रम खमाणों में श्रधापूर्वक संपन्न हुआ तीन दिवसीय कबीर साहेब प्रकट दिवस समागम

जिला फतेहगढ़ साहिब के खमाणों में स्थित सतलोक आश्रम खमाणों में 12 जून से चल रहे कबीर साहेब प्रकट दिवस समागम का मंगलवार को श्रधापूर्वक समापन हुआ। इस अवसर पर संत रामपाल जी महाराज जी के पावन सानिध्य में चल रहे संत गरीबदास जी महाराज जी की अमृतवाणी के भोग डाले गए । इस उपरान्त प्रोजैकटर के माध्यम से सतसंग करते हुए संत रामपाल जी महाराज ने कहा कि कबीर साहेब ने अपनी वाणी के माध्यम से संपूर्ण धार्मिक शास्त्रों का ज्ञान करवा मनुष्य जीवन के उद्देश्य से हमें अविगत करवाया है । जन्म मरण के इस दीरघ रोग की जड़ी केवल कबीर साहेब जी का सारनाम और सार शब्द ही है । इस सार ज्ञान और सार नाम के बिना जीव का मोक्ष संभव नहीं है । जिसे सिर्फ पूर्ण संत और पूर्ण परमात्मा ही जीव को प्रदान करता है । इस अवसर पर उन्होंने कबीर साहेब के जीवन पर प्रकाश डालते हुए उनकी लीलाओं से उपस्थित संगत को अवगत करवाते हुए बताया कि कबीर साहेब स्वयं अपने निज लोक से चलकर आते हैं और कमल के फूल पर प्रकट होते हैं । 

इस तीन दिवसीय विशाल समागम के तीनों दिन प्रदेश के सभी जिलों से बारी बारी से संगत ने हजारों की संख्या में अपनी उपस्थिति दर्ज करवाई । इस अवसर पर प्रंबधक सेवादारों नरेश कौशिक , दीपक दास ने राज्य संयोजक ने बताया कि संत रामपाल जी महाराज का उद्देश्य समाजिक कुरीतियों को समाप्त करके समाज को नशा , दहेज, भ्रष्टाचार आदि से मुक्त करवा एक स्वछ समाज का निर्माण करना है । इस अवसर पर बड़ी संख्या में लोगों ने संत रामपाल जी महाराज से नाम दीक्षा प्राप्त की। संगत में अन्य के इलावा रामदास खटाणा, सुखदेव खटाणा , प्रेम सिंह धनखड़, डा सुरिन्दर पाल भगत , इकबाल सिंह जटाणा आदि बड़ी संख्या में श्रद्धालु उपस्थित थे ।