PM मोदी आसियान शिखर सम्मेलन के लिए नहीं जाएंगे मलेशिया, जयशंकर कर सकते हैं प्रतिनिधित्व

PM मोदी आसियान शिखर सम्मेलन के लिए नहीं जाएंगे मलेशिया, जयशंकर कर सकते हैं प्रतिनिधित्व

47th Asean Summit At Malaysia

47th Asean Summit At Malaysia

नई दिल्ली: 47th Asean Summit At Malaysia: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी रविवार से मलेशिया में शुरू हो रहे आसियान शिखर सम्मेलन में समय संबंधी समस्याओं के कारण शामिल नहीं हो सकते हैं. पीएम मोदी इस आसियान शिखर सम्मेलन में वर्चुअली शामिल होंगे. मलेशियाई पीएम इब्राहिम ने इसकी पुष्टि करते हुए उनके फैसले का सम्मान किया.

47वां आसियान शिखर सम्मेलन और संबंधित शिखर सम्मेलन 26 से 28 अक्टूबर तक मलेशिया के कुआलालंपुर में होने वाला है. प्रधानमंत्री अनवर इब्राहिम और पीएम मोदी के बीच इस सम्मलन के संबंध में बातचीत हुई. इस बातचीत के दौरान दोनों नेताओं ने द्विपक्षीय संबंधों को गहरा करने और विभिन्न क्षेत्रों में सहयोग बढ़ाने पर चर्चा की.

बातचीत का विवरण साझा करते हुए मलेशिया के प्रधानमंत्री अनवर इब्राहिम ने एक सोशल मीडिया पोस्ट में कहा, 'मुझे अपने मित्र प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का फोन आया, जिसमें मलेशिया-भारत संबंधों को और अधिक रणनीतिक और व्यापक स्तर पर ले जाने के प्रयासों पर चर्चा की गई.'

शिखर सम्मेलन से संबंधित विचार-विमर्श में भारत की भागीदारी के स्तर पर अभी तक कोई आधिकारिक पुष्टि नहीं हुई है. आसियान-भारत शिखर सम्मेलन में पीएम मोदी की वर्चुअल मोड के माध्यम से भागीदारी की संभावना है. 2014 के बाद से प्रधान मंत्री मोदी ने केवल एक पूर्वी एशिया शिखर सम्मेलन (ईएएस) को छोड़ा, वह है 2022 में कंबोडिया की राजधानी नोम पेन्ह में आयोजित 17वां संस्करण.

कुआलालंपुर में 20वें पूर्वी एशिया शिखर सम्मेलन (ईएएस) (26 अक्टूबर) के लिए बमुश्किल कुछ ही दिन शेष रह गए हैं, लेकिन विदेश मंत्रालय (एमईए) ने मंगलवार को इस बारे में कोई स्पष्ट संकेत नहीं दिया कि प्रधानमंत्री एईएएन शिखर सम्मेलन के साथ-साथ ईएएस में भी भाग लेंगे या नहीं.

हालाँकि, मलेशियाई सरकार के प्रतिनिधियों और उसके मीडिया ने कहा है कि प्रधानमंत्री मोदी, अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप, चीनी प्रधानमंत्री ली कियांग और कई अन्य के साथ ईएएस में भाग लेने वाले विश्व नेताओं में से एक होंगे. प्रधानमंत्री ने पिछले कुछ वर्षों में आसियान-भारत शिखर सम्मेलन और पूर्वी एशिया शिखर सम्मेलन में भारतीय प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व किया है.

आसियान के 10 सदस्य देश इंडोनेशिया, मलेशिया, फिलीपींस, सिंगापुर, थाईलैंड, ब्रुनेई, वियतनाम, लाओस, म्यांमार और कंबोडिया हैं. पिछले कुछ वर्षों में भारत और आसियान के बीच द्विपक्षीय संबंधों में उल्लेखनीय वृद्धि हुई है. इसका मुख्य उद्देश्य व्यापार और निवेश के साथ-साथ सुरक्षा और रक्षा के क्षेत्रों में सहयोग को बढ़ावा देना है.

मलेशिया ने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के साथ-साथ आसियान के संवाद साझेदार कई देशों के नेताओं को भी आमंत्रित किया है. ट्रंप 26 अक्टूबर को दो दिवसीय यात्रा पर कुआलालंपुर जाएँगे. आसियान-भारत संवाद संबंध 1992 में एक क्षेत्रीय साझेदारी की स्थापना के साथ शुरू हुए. यह दिसंबर 1995 में पूर्ण वार्ता साझेदारी और 2002 में शिखर-स्तरीय साझेदारी में परिवर्तित हुआ.

2012 में ये संबंध रणनीतिक साझेदारी के स्तर तक पहुँच गए. प्रधानमंत्री ने नवंबर 2014 में म्यांमार में नौवें पूर्वी एशिया शिखर सम्मेलन (ईएएस) में भाग लिया, जो भारत के प्रधानमंत्री के रूप में उनका पहला था. इसके बाद उन्होंने नवंबर 2015 में मलेशिया में ईएएस, सितंबर 2016 में लाओस में 11वें ईएएस, नवंबर 2017 में फिलीपींस में 12वें ईएएस, नवंबर 2018 में सिंगापुर में 13वें ईएएस और नवंबर 2019 में थाईलैंड में 14वें ईएएस में भाग लिया.

16वें और 17वें ईएएस का आयोजन क्रमशः 2020 और 2021 में वियतनाम और ब्रुनेई के मेजबान देशों के साथ ऑनलाइन किया गया. प्रधानमंत्री मोदी ने अगले दो शिखर सम्मेलनों में भाग लिया जो क्रमशः सितंबर 2023 और अक्टूबर 2024 में इंडोनेशिया और लाओस में आयोजित किए गए.