आयकर विभाग चंडीगढ़ द्वारा “टैक्स ऑडिट रिपोर्ट एक बुद्धिमान जोखिम विश्लेषण उपकरण के रूप में” विषय पर कार्यशाला का आयोजन

आयकर विभाग चंडीगढ़ द्वारा “टैक्स ऑडिट रिपोर्ट एक बुद्धिमान जोखिम विश्लेषण उपकरण के रूप में” विषय पर कार्यशाला का आयोजन

Income Tax Department Chandigarh

Income Tax Department Chandigarh

चंडीगढ़, 8 अक्टूबर: Income Tax Department Chandigarh: प्रधान आयकर आयुक्त (ओएसडी), पंचकूला एवं समीक्षा प्रकोष्ठ – चंडीगढ़ के कार्यालय द्वारा 7 अक्टूबर को “टैक्स ऑडिट रिपोर्ट एक बुद्धिमान जोखिम विश्लेषण उपकरण के रूप में” विषय पर एक कार्यशाला का आयोजन किया गया। यह कार्यशाला भारत सरकार की पहल, राष्ट्रीय सिविल सेवा क्षमता निर्माण कार्यक्रम (मिशन कर्मयोगी) के अंतर्गत आयोजित की गई।

कार्यशाला का उद्देश्य अधिकारियों की विश्लेषणात्मक क्षमताओं को सुदृढ़ करना तथा टैक्स ऑडिट रिपोर्ट (टीएआर) को एक प्रभावी उपकरण के रूप में उपयोग करते हुए जोखिम मूल्यांकन और डेटा-आधारित निर्णय प्रक्रिया में दक्षता विकसित करना था।

कार्यक्रम की मुख्य अतिथि सुश्री विदिशा कालरा, मुख्य आयुक्त आयकर, पंचकूला एवं शिमला रहीं। उन्होंने अपने संबोधन में आधुनिक कर प्रशासन में विश्लेषणात्मक सोच और प्रौद्योगिकी-सक्षम कार्यप्रणालियों को अपनाने के महत्व पर बल देते हुए कहा कि इनसे कर प्रशासन में पारदर्शिता और दक्षता दोनों में वृद्धि होगी।

सुश्री कोमल जोगपाल, भारतीय राजस्व सेवा, मुख्य आयुक्त आयकर (ओएसडी), पंचकूला एवं समीक्षा प्रकोष्ठ, चंडीगढ़ ने मुख्य अतिथि का स्वागत किया और मिशन कर्मयोगी की भावना के अनुरूप विभाग की ज्ञान-साझाकरण, क्षमता-विकास और पेशेवर उन्नयन के प्रति निरंतर प्रतिबद्धता को रेखांकित किया।

कार्यशाला में श्री पारिक्षित अग्रवाल, चार्टर्ड अकाउंटेंट द्वारा तकनीकी सत्र आयोजित किया गया, जिसके पश्चात एक संवादात्मक चर्चा हुई। इसमें आयकर विभाग के अधिकारियों और कर्मचारियों ने टैक्स ऑडिट रिपोर्ट के व्यावहारिक उपयोग को एक बुद्धिमान जोखिम विश्लेषण उपकरण के रूप में समझने हेतु सक्रिय रूप से भाग लिया।

कार्यक्रम का समापन धन्यवाद ज्ञापन के साथ हुआ, जिसमें विभाग ने कर प्रशासन में नवाचार, पारदर्शिता एवं विश्लेषणात्मक उत्कृष्टता को प्रोत्साहित करने के अपने संकल्प को पुनः दोहराया।