Municipal corporation's feat

नगर निगम का कारनामा: प्रॉपर्टी टैक्स के साथ भेजे सालभर के गारबेज बिल

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Municipal corporation's feat- चंडीगढ़ (अर्थ प्रकाश/साजन शर्मा)। शहर के लोगों को प्रापर्टी टैक्स के साथ गारबेज टैक्स के बिल भेजकर नगर निगम ने परेशानी में डाल दिया है। गारबेज का बिल भी कोई एक दो महीने का नहीं भेजा गया है बल्कि पूरे साल का एक साथ भेज दिया गया है जिसे लेकर लोग हतप्रभ हैं।

अब लोगों के सामने मजबूरी है कि उन्हें गारबेज का कई हजारों का बिल प्रापर्टी टैक्स के साथ ही जमा कराना होगा अन्यथा न तो प्रापर्टी टैक्स पर 31 मई तक 10 प्रतिशत की रिबेट मिलेगी, उल्टा समय पर न देने पर जुर्माना भी भुगतना पड़ेगा। यानि निगम ने ऐसा चालाकी भरा काम कर दिया जो लोगों के लिए मुसीबत बन गया। इससे भी हैरानी वाली बात उपभोक्ता बता रहे हैं कि यह गारबेज बिल अप्रैल 2023 से मार्च 2024 तक की मियाद का भेजा गया है। लोगों का कहना है कि एडवांस में बिल कैसे लिया जा सकता है। इसे या तो प्रतिमाह या फिर दो माह के बाद भेजा जाए ताकि लोग किश्तों में गारबेज टैक्स का पैसा दे सकें।

जानकारी के अनुसार करीब डेढ़ साल पहले नगर निगम ने गारबेज बिल लेने शुरू किये थे। इसे प्रतिमाह या हर दो माह भेजने का प्रस्ताव पास हुआ था। लगभग डेढ़ साल से अभी तक कोई गारबेज बिल नगर निगम ने नहीं भेजा था लेकिन अचानक प्रापर्टी टैक्स के साथ इस मई महीने में बिल भेज दिये गए।

बताया जा रहा है कि जनवरी 2023 में नगर निगम ने गारबेज टैक्स में कुछ कमी की थी जिसके पीछे कमर्शियल अदारों के तर्क को देखा गया था। इनका कहना था कि उनके यहां तो सिर्फ सूखा कचरा होता है। गीला कचरा तो जेनरेट ही नहीं होता। गीला कचरा तो केवल केरल और रेस्टोरेंटों में होता है। इसके बाद गारबेज टैक्स के रेट निगम ने कुछ कम कर दिये थे जिन्हें अप्रैल 2023 से लागू किया गया लेकिन बिल पूरे साल का एक साथ भेज दिया गया जिसका विरोध हो रहा है। व्यापार मंडलसे लेकर इंडस्ट्री से जुड़े लोग व आम नागरिक भी इसका विरोध कर रहे हैं। जनवरी 2023 से पहले महज 500 रुपये गारबेज का बिल लिया जाता था।

मोटे-मोटे गारबेज बिल

सबसे प्रमुख बात यह है कि नगर निगम ने गारबेज टैक्स के बिल तो विभिन्न अदारों व नागरिकों को भेज दिये लेकिन गारबेज क्लेक्ट करने के प्रबंध नहीं हैं। प्रापर्टी टैक्स के साथ अटैच कर इस गारबेज टैक्स बिल को भेजा गया है। लोग बता रहे हैं कि उनका प्रापर्टी टैक्स तो महज 10 हजार रुपये बनता है जबकि गारबेज चार्जिस 5 हजार रुपये हैं। बिलों पर 1 अप्रैल 2023 की तारीख डली है लेकिन इन्हें एक माह बाद भेजा गया है। प्रापर्टी टैक्स का बिल रिबेट के साथ भरने की आखिरी तारीख 31 मई है। एक अन्य बिल पर प्रापर्टी टैक्स 5 हजार रुपये है जबकि गारबेज चार्जिस 12 हजार रुपये बनते हैं। एक तीसरे बिल में प्रापर्टी टैक्स 30 हजार रुपये है जबकि गारबेज चार्जिस 25 हजार लगा कर भेज दिये गये हैं। चौथे बिल में 5 हजार रुपये प्रापर्टी टैक्स है जबकि 24 हजार रुपये गारबेज चार्जिस लगा कर भेज दिये गये हैं। बताया जा रहा है कि यह सात मरला के प्लाटों का बिल है। एक कनाल से बड़े प्लाटों का बिल 24 हजार रुपये है। 2 कनाल के प्लाट का बिल 24 हजार रुपये है।  सेक्टर 52 इंडस्ट्रियल एरिया में 10 मरले के प्लाट का गारबेज बिल 24 हजार रुपये भेज दिया गया है। 

 

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