Manohar government

Editorial:पूरे हरियाणा का विकास सुनिश्चित कर रही मनोहर सरकार

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Manohar Government  हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर अपने पहले कार्यकाल में संभवतया पहले ऐसे मुख्यमंत्री थे, जिन्होंने प्रदेश के सभी 90 हलकों का दौरा पूरा किया था। भाजपा सरकार के आने से पहले प्रदेश में यह आरोप सामान्य था कि यहां सत्ता में बैठे राजनीतिक केवल अपने इलाके की ही परवाह करते हैं। केवल वहीं पर विकास कार्य होते हैं। हालांकि यह आरोप काफी हद तक सही भी थे, क्योंकि हरियाणा टुकड़ों में बंट गया लगता था।  

मुख्यमंत्री मनोहर लाल ही वह राजनेता थे, जिन्होंने हरियाणा एक, हरियाणवी एक का नारा दिया। अब यह नारा उनके लिए संकल्प बन चुका है। मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने प्रदेश का सर्वांगीण विकास सुनिश्चित करते हुए सभी को साथ लेकर चलना शुरू किया है और यह बात पूरे प्रदेश के लिए कल्याणकारी साबित हो रही है।  

मुख्यमंत्री अनेक बार राजधानी चंडीगढ़ से प्रदेश के विभिन्न हलकों में परियोजनाओं का शिलान्यास और उद्घाटन कार्यक्रम संचालित कर चुके हैं। इससे बड़ा उदाहरण पूरे हरियाणा को एक नजर से देखने का कहां मिलेगा। गांव-देहात और कस्बों में लोगों की तमाम जरूरतें होती हैं, सरकार में ऊंचे ओहदों पर बैठे अधिकारियों के लिए शायद यह मामूली लगें, लेकिन जनता के लिए आगे बढ़ने के अवसर होते हैं।

आजकल मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने खाट पर जनसंवाद कार्यक्रम के जरिये ग्रामीणों की इन्हीं जरूरतों को पूरा करने में जुटे हैं, जोकि सराहनीय है। वे भिवानी के बाद पलवल में इस कार्यक्रम को संचालित कर चुके हैं और अब कुरुक्षेत्र में इस कार्यक्रम को आगे बढ़ा रहे हैं। निश्चित रूप से यह पूरे प्रदेश के लिए एक अलग ही परियोजना है, जिसमें मुख्यमंत्री राजधानी से बाहर आकर प्रदेश में लोगों के बीच बैठकर उनकी समस्याओं को सुन और समझ रहे हैं और उनका निराकरण कर रहे हैं।

जनता को इससे ज्यादा कुछ नहीं चाहिए होता है कि जिस सरकार को वे चुन रहे हैं, वह उनके प्रति संजीदा हो और उनकी जरूरतों को समझे। उनके संबंध में ऐसी योजनाएं बनाए जोकि उनके जीवन को सुगम करें। मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने कुरुक्षेत्र के गांवों के लिए अनेक योजनाओं की घोषणा की है, निश्चित रूप से यह प्रदेश में किसी सरकार का लोकहित में बहुत बड़ा कदम है।

राज्य में पहले की तुलना में स्वास्थ्य सुविधाओं में इजाफा हुआ है, डॉक्टरों को राज्य में ही रोकने के लिए सरकार को बॉन्ड पॉलिसी लानी पड़ी, जिसका भारी विरोध हुआ लेकिन मुख्यमंत्री मनोहर लाल की प्रदेश की जनता के कल्याण की आकांक्षा ने इस विरोध का भी डटकर सामना किया और उसमें कामयाब रहे। साल 2014 तक प्रदेश में एमबीबीएस की 750 ही सीटें उपलब्ध थी, जबकि मौजूदा सरकार के साढ़े 8 साल के कार्यकाल में अब तक नए मेडिकल कॉलेज खोलते हुए 1850 एमबीबीएस की सीटें उपलब्ध हो गई हैं।

वहीं सभी जिलों में नए मेडिकल कॉलेज के खुलने के साथ ही प्रदेश भर में करीब 3000 एमबीबीएस की सीटें उपलब्ध होंगी। सरकार इस समय ग्रामीण विकास पर फोकस कर रही है तो यह सराहनीय कदम है। गांवों का विकास शहरों पर बढ़ रहे बोझ को कम कर सकता है। सभी सुविधाएं शहरों में सिमट गई हैं, ग्रामीणों की सभी जरूरतें शहरों में आकर पूरी हो रही हैं, ऐसे में यह जरूरी है कि गांवों को इतना सबल बनाया जाए कि वे शहरों की तरफ पलायन को रोकें वहीं ग्रामीणों को रोजगार भी उपलब्ध करायें।

वैसे ये आंकड़े ग्रामीण विकास को सुनिश्चित करते हैं कि कितने परिवारों को आयुष्मान कार्ड बने हैं और कितने परिवारों में बुजुर्गों को पेंशन  मिल रही है।  कुरुक्षेत्र के झांसा गांव में करीब 1840 परिवार हैं और यहां 3452 लोगों के आयुष्मान कार्ड बने हैं और उनमें से अब तक 411 लोगों ने आयुष्मान चिरायु योजना के तहत करीब 71 लाख रुपये की राशि का इलाज मुफ्त करवाया है। इसी तरह परिवार पहचान पत्र के तहत 1.80 लाख रुपये की कम आय वालों के स्वत: ही नए राशन कार्ड बन रहे हैं। मौजूदा सरकार के कार्यकाल में 62 युवाओं को सरकारी नौकरी मिली है। सरकार की ओर से अब 60 साल से अधिक आयु होने पर अपने आप ही पेंशन बन रही है। मुख्यमंत्री अंत्योदय परिवार उत्थान योजना के तहत गांव झांसा में 2685 लोगों को विभिन्न विभागीय योजनाओं से जोड़ते हुए स्वरोजगार प्रदान किया है।

वास्तव में रातों-रात किसी क्षेत्र या राज्य का विकास नहीं हो सकता। इसमें साल दर साल बढ़ोतरी सुनिश्चित होती है तभी यह कार्य संपन्न होता है। विपक्ष का आरोप है कि मौजूदा सरकार के समय में कोई विकास नहीं हो रहा है, हालांकि जनमत निर्माण का यह उसका तरीका है, विपक्ष अगर सरकार की प्रशंसा करेगा तो फिर वह खुद को अलग कैसे दिखाएगा। भाजपा-जजपा सरकार के समय में प्रदेश में चहुंमुखी विकास सुनिश्चित हो रहा है, हालांकि विकास का कोई अंतिम चरण नहीं होता, यह सतत चलने वाली प्रक्रिया है। प्रदेश सरकार को सभी वर्गों को साथ लेकर चलना होगा और इसके प्रयास निरंतर जारी रहने चाहिएं।

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