पंचायती राज संस्थानों में पिछड़ा वर्ग (ए) के राजनीतिक आरक्षण अधिकारों को मंजूरी दी गई

पंचायती राज संस्थानों में पिछड़ा वर्ग (ए) के राजनीतिक आरक्षण अधिकारों को मंजूरी दी गई

पंचायती राज संस्थानों में पिछड़ा वर्ग (ए) के राजनीतिक आरक्षण अधिकारों को मंजूरी  दी गई

पंचायती राज संस्थानों में पिछड़ा वर्ग (ए) के राजनीतिक आरक्षण अधिकारों को मंजूरी दी गई

चंडीगढ़, 1 सितम्बर - हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल की अध्यक्षता में आज यहाँ हुई मंत्रिमण्डल की बैठक में पंचायती राज संस्थानों में पिछड़ा वर्ग (ए) के राजनीतिक आरक्षण अधिकारों को मंजूरी दे दी गई है। हरियाणा पंचायती राज अधिनियम, 1994 की धारा 9, 59 तथा 120 में संशोधन को मंजूरी दी गई है। यह अध्यादेश अब पंचायती राज (संशोधित) अध्यादेश, 2022 कहलाएगा।
ग्राम पंचायत में अनुशंसित आरक्षण मंत्रिमंडल द्वारा दी गई मंजूरी के अनुसार प्रत्येक ग्राम पंचायत में पंच के पदों के लिए पिछड़ा वर्ग (ए) की कुल जनसंख्या प्रतिशत के आधे प्रतिशत की सीट आरक्षित की जाएगी। यदि डेसिमल वैल्यू 0.5 या अधिक है तो इसे अगले उच्च पूर्णांक में पूर्णांकित किया जाएगा। ऐसे वार्डों में अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित वार्डों को छोडक़र पिछड़ा वर्ग के लिए ड्रॉ के माध्यम से अलॉट किया जाएगा। प्रत्येक चुनाव में रोटेशन के आधार पर वार्ड आरक्षित किया जाएगा। 

बशर्ते कि यदि पिछड़े वर्ग (ए) की आबादी सभा क्षेत्र की कुल आबादी का दो प्रतिशत या अधिक है तो प्रत्येक ग्राम पंचायत में पिछड़े वर्ग (ए) से संबंधित कम से कम एक पंच होगा। ऐसे वार्डों में अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित वार्डों को छोडक़र पिछड़ा वर्ग के लिए ड्रॉ के माध्यम से अलॉट किया जाएगा। प्रत्येक चुनाव में रोटेशन के आधार पर वार्ड आरक्षित किया जाएगा। 
इसी प्रकार, एक ब्लॉक में सरपंच के पदों की कुल संख्या का आठ प्रतिशत और यदि डेसिमल वैल्यू 0.5 या अधिक है तो इसे अगले उच्च पूर्णांक में पूर्णांकित करते हुए पिछड़ा वर्ग (ए) के लिए आरक्षित किया जाएगा।
इस उप-धारा के अंतर्गत ग्राम पंचायत में जहां पिछड़े वर्ग (ए) के लिए आरक्षित वार्डों की संख्या अनुसूचित जातियों के लिए आरक्षित वार्डों की संख्या में कुल वार्डों की संख्या के 50 प्रतिशत से अधिक है तो पिछड़ा वर्ग (ए) के लिए आरक्षित वार्डों को इतनी बड़ी संख्या तक सीमित कर दिया जाएगा कि पिछड़ा वर्ग (ए) और अनुसूचित जातियों के लिए आरक्षित कुल वार्ड उस ग्राम पंचायत के कुल वार्डों के 50 प्रतिशत से अधिक न हों। 

(ख) उप-धारा (7) के लिए निम्नलिखित उप-धारा को प्रतिस्थापित किया जाएगा, नामत:-

ब्लॉक में सरपंच के कार्यालयों की कुल संख्या के आठ प्रतिशत पद पिछड़ा वर्ग (ए) के लिए आरक्षित किए जाएंगे। डेसिमल वैल्यु 0.5 या अधिक होने पर अगले उच्च पूर्णांक में पूर्णांकित किया जाएगा। पिछड़ा वर्ग (ए) के लिए आरक्षण के लिए प्रस्तावित ग्राम पंचायतों की पिछड़ा वर्ग (ए) की उच्चतम जनसंख्या वाली तीन गुना पंचायतों में से ड्रा द्वारा आवंटित किया जाएगा। जहां पर सरपंच का पद पहले से उप-धारा (5) के तहत अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित है, उन ग्राम पंचायतों को छोडक़र, पिछड़े वर्ग (ए) की सबसे अधिक प्रतिशत जनसंख्या वाली है, वहां बाद के चुनावों में रोटेशन द्वारा सरपंच के पद के लिए आरक्षण किया जाएगा।
बशर्ते कि जहां इस उप-धारा के तहत पिछड़ा वर्ग (ए) के लिए आरक्षित ब्लॉक में सरपंच के कार्यालयों की संख्या उस ब्लॉक में अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित सरपंच के कार्यालयों की संख्या में जोड़ दी गई है, वहां कार्यालयों की कुल संख्या के पचास प्रतिशत से अधिक है, उस ब्लॉक में पिछड़ा वर्ग (ए) के लिए आरक्षित सरपंच के कार्यालयों की संख्या इतनी बड़ी संख्या तक सीमित कर दी जाएगी कि पिछड़ा वर्ग (ए) और अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित सरपंच के कुल कार्यालय 50 प्रतिशत से अधिक नहीं होंगे। 

धारा 59 का संशोधन

मूल अधिनियम की धारा 59 की उप-धारा (4) के स्थान पर निम्नलिखित उप-धारा प्रतिस्थापित की जाएगी :- 

प्रत्येक पंचायत समिति में पिछड़े वर्ग (ए) के लिए वार्ड आरक्षित होंगे। पंचायत समिति में पिछड़ा वर्ग (ए) के लिए पंचायत समिति क्षेत्र में उनकी जनसंख्या के आधे के अनुपात में सदस्य के पद आरक्षित होंगे। यदि आरक्षित पदों की संख्या अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित पदों सहित 50 प्रतिशत से अधिक हो जाएगी। तो उस अवस्था में पिछड़ा वर्ग (ए) के लिए कोई पद आरक्षित नहीं होगा। अर्थात पिछड़ा वर्ग (ए) के लिए 50 प्रतिशत सीमा तक ही पद आरक्षित होंगे। ये आरक्षित पद ड्रा आफ लॉट तथा रोटेशन के आधार पर आरक्षित होंगे।   

धारा 120 का संशोधन

मूल अधिनियम की धारा 120 की उप-धारा (4) के स्थान पर, निम्नलिखित उप-धारा प्रतिस्थापित की जाएगी 

जिला परिषद में भी पिछड़े वर्ग(ए) के लिए पद आरक्षित होंगे। जिला परिषद में पिछड़ा वर्ग (ए) के लिए उनकी जिला परिषद क्षेत्र में उसकी जनसंख्या के आधे के अनुपात में जिला परिषद सदस्य के लिए पद आरक्षित होंगे। यदि आरक्षित पदों की संख्या अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित पदों सहित 50 प्रतिशत से अधिक हो जाएगी तो उस अवस्था में पिछड़ा वर्ग (ए) के लिए कोई पद आरक्षित नहीं होगा। अर्थात पिछड़ा वर्ग (ए) के लिए 50 प्रतिशत सीमा तक ही पद आरक्षित होंगे। ये आरक्षित पद ड्रा आफ लॉट तथा रोटेशन के आधार पर आरक्षित होंगे। पिछड़ा वर्ग (ए) के लिए आरक्षित किए जाने वाले पदों की संख्या के तीन गुना वार्डों में से होगा और ये तीन गुना वार्ड वो वार्ड होंगे जिनमें पिछड़ा वर्ग (ए) की जनसंख्या की प्रतिशतता सबसे ज्यादा होगी।